इस विधानसभा में भाग्य से मिलती है विधायक की टिकट
प्रवीण अग्रवाल
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बैतूल जिले के घोड़ाडोंगरी विधानसभा क्षेत्र मैं 1957 से 2018 तक 15 बार विधानसभा के चुनाव हुए हैं । जिनमें 6 बार कांग्रेस और 9 बार भारतीय जनता पार्टी / जनसंघ /जनता पार्टी चुनाव जीती है। अभी तक के हुए चुनाव मैं विजई रहे उम्मीदवारों को देखा जाए तो भाजपा और कांग्रेस ने घोड़ाडोंगरी विधानसभा क्षेत्र से शासकीय पद पर कार्यरत रहे सचिव,शिक्षक या अन्य कर्मचारी को टिकट दी । शासकीय पद पर कार्यरत व्यक्ति के बारे में कहा जाता है कि उसे राजनीति से कोई लेना देना नहीं होता तो यह कहना गलत नहीं होगा कि यहां पर भाग्य से विधायक पद पर टिकट मिलती है ।
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भाजपा हो या कांग्रेस दोनों ने ही ऐसे उम्मीदवारों को टिकट दी है जिनके पूरे विधानसभा क्षेत्र में कोई बड़ी राजनीतिक पकड़ रही हो ऐसा नहीं देखा गया । घोड़ाडोंगरी विधानसभा क्षेत्र वर्तमान में तीन विकासखंड को मिलकर बना हुआ है । यहां पर चिचोली विकासखंड, शाहपुर विकासखंड और घोड़ाडोंगरी विकासखंड को मिलाकर घोड़ाडोंगरी विधानसभा क्षेत्र बना है।
घोड़ाडोंगरी विधानसभा क्षेत्र से 1957 में कांग्रेस से मोहकम सिंह जी विधायक रहे। उसके बाद 1962 में जनसंघ के जंगू सिंह जी विधायक रहे ।1967 में भारतीय जनसंघ से माडू सिंह जी विधायक रहे ।1972 में कांग्रेस के विश्राम सिंह जी विधायक रहे । 1977 में जनता पार्टी के जंगू सिंह जी विधायक रहे ।1980 में भाजपा के रामजीलाल उइके जी विधायक रहे। 1985 में कांग्रेस के श्रीमती मीरा धुर्वे विधायक रही। 1990 में भाजपा के रामजीलाल उइके विधायक रहे।
1993 में कांग्रेस के प्रताप सिंह उइके विधायक रहे ।1998 में कांग्रेस के प्रताप सिंह उइके विधायक रहे। वर्ष 2003 में भाजपा के सज्जन सिंह उइके के विधायक रहे । वर्ष 2008 में भाजपा की श्रीमती गीता रामजीलाल उइके विधायक रही। 2013 में भाजपा के सज्जन सिंह उइके विधायक रहे। 2016 में हुए उपचुनाव में भाजपा के मंगल सिंह विधायक रहे। 2018 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस के ब्रह्मा भलावी विधायक बने ।इन विधायक उम्मीदवारों की चुनाव के पहले राजनीतिक पृष्ठभूमि क्या थी इसको लेकर हमने भाजपा और कांग्रेस के कार्यकर्ताओं से चर्चा की।
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