कुटुम्ब राष्ट्र की सबसे बड़ी शक्ति होती हैं _ धननालाल दोगने

कुटुम्ब राष्ट्र की सबसे बड़ी शक्ति होती हैं _ धननालाल दोगने
कुटुंब प्रबोधन इकाई द्बारा पारिवारिक मिलन कार्यक्रम आयोजित किया गया। कार्यक्रम नगर के मंगलभवन में हुआ जिसमें सारनी नगर के लगभग 300 परिवारों के सदस्य सहपरिवार उपस्थित थे।
कार्यक्रम की अध्यक्षता मध्यप्रदेश विद्युत मंडल पॉवर जनरेटिंग कंपनी के मुख्य अभियंता श्री वी के कैथवार जी ने की जिनके साथ मंचासिन मुख्य वक्ता के रूप मे नर्मदापुरम से संघ के माननीय विभाग संघ चालक  श्री धन्नालाल जी डोमने एवं कुटुंब प्रबोधन जिला संयोजक ब्रज मोहन सहगल उपस्तिथि थे।
कार्यक्रम का शुभांरभ अतिथि द्वारा भारत माता के समक्ष दीप प्रज्वलन कर किया गया। जिसके पश्चात् मातृशक्ति, बच्चों एवं भाइयों द्वारा विभिन्न प्रकार के मानसिक एवं शारीरिक खेल में बड़े उत्साह के साथ सभी ने इसमें भाग लेकर आनंद लिया। साथ ही हमारी संस्कृति से जुड़ने एवं समझने के लिए प्रश्नोत्तरी का आयोजन भी किया गया जिसमें सभी ने अपनी रुचि दिखाकर पूछे गए प्रश्नों का उत्तर दिया।

कार्यक्रम के बौद्धिक पक्ष में मुख्य वक्ता श्री धन्नालाल जी डोमने ने कुटुंब प्रबोधन की महत्वता पर प्रकाश डाला और बताया कि संयुक्त परिवारों में एकता और राष्ट्रीयता की भावना जाग्रत होने पर ही राष्ट्र शक्तिशाली बनेगा। असल में कुटुंब ही आर्थिक, सामाजिक और संस्कृतिक इकाई है। संघ के इस कार्यक्रम के द्वारा परिवारों को भारतीय संस्कृति की मूल अवधारणा से जोडकर समाज को लोगों को अपनी परंपराओं, भाषा, वेशभूषा, भजन, भोजन को अपनाने पर बल दिया, और बताया कि सप्ताह में कम से कम एक दिन अपने परिवार और मित्रो के साथ बैठकर भोजन करने के साथ राष्ट्र और संस्कृतिक विरासत से जुड़े विषयों पर चर्चा करनी चाहिए।

कुटुंब राष्ट्र की सबसे बड़ी शक्ति होती है जो समाज परिवर्तन में अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकती है जो हमारे पंच परिवर्तन के बिंदुओं स्व का बोध, पर्यावरण, समरसता, नागरिक कर्तव्यों, कुटुंब प्रबोधन को दर्शाती है जिसको अपनाकर हम एक सभ्य समाज की दिशा दे सकते हैं। कुटुंब प्रबोधन संघ का पंच परिवर्तन का ही एक कार्यक्रम है। जिससे परिवार को राष्ट्र के विकास में महत्वपूर्ण इकाई के रूप में स्थापित किया जा सके प्रत्येक नागरिक का सामाजिक जिम्मेदारीयो का निर्वहन कर राष्ट्र हित में योगदान हो। जिससे समाज के सभी वर्गों के बीच प्रेम बना रहे।

कार्यक्रम के समापन पर सभी ने भारतमाता की आरती की इस अवसर पर  श्री बसंत राय जी द्वारा सभी अतिथियों को स्मृति चिन्ह भेंट किए।
इस कार्यक्रम को सफल बनाने में सामाजिक कार्यकर्ता दशरथ डांगे, भोजराज परमार, कुंडलीक बारस्कर, नंदकिशोर बघेल, लाखन चौधरी, गजानंद रघुवंशी, दीपक वर्मा, लालबाबू गिरी एवं अन्य स्वयंसेवकों योगदान रहा इस कार्यक्रम का संचालन श्री विनोद झरबड़े एवं गोपाल अरोरा ने किया ।

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