दो दिवसीय 45 वा वार्षिकोत्सव मनाया

अखिल विश्व गायत्री परिवार के संस्थापक वेद मूर्ति, तपोनिष्ठ परम पूज्य गुरुदेव पंडित श्रीराम शर्मा जी आचार्य द्वारा स्थापित देश के प्रथम 24 शक्तिपीठों में से एक शक्तिपीठ नर्मदापुरम जिसकी प्राण प्रतिष्ठा परम पूज्य गुरुदेव पंडित श्रीराम शर्मा आचार्य जी के द्वारा तीन दिन यहां पर रुक कर 12 नवंबर सन 1980 में की थी । दो दिवसीय 45 वा वार्षिकोत्सव मनाया गया। जिसमें प्रथम दिवस 11 नवंबर को प्रातः काल 6:00 बजे से शाम 6:00 तक गायत्री महामंत्र का अखंड जाप किया गया तथा शाम6:00 को विराट दीप यज्ञ संपन्न हुआ। 12 तारीख को प्रातः 8:30 बजे से पंच कुंडी गायत्री महायज्ञ का आयोजन किया जिसमें जिले के सैकड़ो गायत्री परिजनों ने विश्व कल्याण हेतु मां गायत्री से प्रार्थना करते हुए आहुतियां समर्पित की गई ।यज्ञ के पश्चात कार्यकर्ताओं की गोष्ठी को गायत्री शक्तिपीठ के व्यवस्थापक एवं शांतिकुंज, हरिद्वार के प्रतिनिधि श्री रामचंद्र गायकवाड जी के द्वारा उद्बोधित किया गया। श्री गायकवाड जी ने कि परम पूज्य गुरुदेव पंडित श्रीराम शर्मा आचार्य के द्वारा सन 1926 में अखंड दीपक शांति कुंज हरिद्वार में प्रज्वलित किया और 24 लाख के 24 महापुंशचरण संपन्न किए ।सन 1958 में मथुरा में 1008 कुंडीय गायत्री महायज्ञ किया

जिसमें लाखों गायत्री साधक बिना बुलाए पहुंचे तथा सन 1979 में परम पूज्य गुरुदेव ने संगठन के विस्तार करने हेतु गायत्री शक्तिपीठ की स्थापना का क्रम प्रारंभ किया ।जिसमें देश में प्रथम 24 शक्तिपीठों की स्थापना की जानी थी जिसमें से होशंगाबाद जो वर्तमान में नर्मदापुरम है इसका भी चयन किया गया और 12 नवंबर सन 1980 में परम पूज्य गुरुदेव ने शक्तिपीठ, नर्मदापुरम में गायत्री माता की प्राण प्रतिष्ठा की जिसमें जिले के हजारों परिजनों ने तत्कालीन समय में गुरुदेव जी से गायत्री मंत्र की दीक्षा ली गई । श्री रामचंद्र गायकवाड जी ने बताया कि हमें गुरु सत्ता के द्वारा बताए गए मार्गदर्शन पर चलते हुए जन-जन तक मां गायत्री एवं मिशन के सूत्रों को पहुंचना है कार्यकर्ताओं को किस तरह से परम पूज्य गुरुदेव के अनुशासन का पालन करना चाहिए प्रत्येक कार्यकर्ता नियमित साधना, उपासना, आराधना करें। विशेष तौर पर परम पूज्य गुरुदेव द्वारा रचित अखंड ज्योति पत्रिका को स्वयं पढ़ना चाहिए और अपने क्षेत्र में पाठकों को तैयार करना चाहिए। श्री गायकवाड जी ने जिले से उपस्थित कार्यकर्ताओं को मिशन के 100 सूत्री योजनाओं की जानकारी दी और सभी से आवाह्न किया कि प्रत्येक व्यक्ति किसी न किसी कार्य योजना को अपने हाथ में लें और उसे पूर्ण करें । जैसे की नशा मुक्ति अभियान ,भारतीय संस्कृति ज्ञान परीक्षा ,आओ गड़े संस्कारवान पीढ़ी ,आदर्श ग्राम योजना, वृक्ष गंगा अभियान ऐसे सभी अभियानों एवं

योजनाओं की विस्तृत जानकारी प्रदान की गई। कार्यक्रम में जिले के सभी तहसीलों के तहसील समन्वयक तथा सैकड़ो गायत्री परिजन उपस्थित रहे और सब ने संकल्प लिया की परम पूज्य गुरुदेव के उद्देश्य को एवं मां गायत्री को जन-जन तक पहुंचाया जाएगा और आने वाले वर्षों में नर्मदा पुरम जिले को एक आदर्श जिला बनाया जाएगा अंत में भोजन प्रसाद के बाद कार्यक्रम संपन्न हुआ।