MADHYA PRADESH जिस बेटी की हत्या के जुर्म में पिता – पुत्र को हुई थी सजा _ 9 साल बाद जिंदा घर लौटी बोली में जिंदा हु
MADHYA PRADESH मामला कुछ यूं है कि 13 जून 2014 को छिंदवाड़ा जिले के सिंगोडी चौकी के जोपनाला मैं रहने वाली कंचन उइके अपने घर से लापता हो गई । पहले तो परिजनों ने कंचन को तलाशा जब नहीं मिली तो कंचन के गुमशुदा होने की सूचना पुलिस को दी।
पुलिस ने गुमशुदा कंचन की तलाश शुरू करी ओर गुमशुदा इंसानों को खोजने के विशेष अभियान के तहत जनवरी 2021 में करीब 2 साल पहले पुलिस ने कंचन के घर के पास से एक कंकाल ढूंढ निकाला। इसके बाद पुलिस ने कंचन की हत्या उसके भाई सोनुलाल उइके और पिता सन्नूलाल ऊके ने की है यह साबित कर दिया की इन दोनों ने इसकी हत्या करके लाश को पास ही के खेत में दफना दिया था।
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जिसको लेकर कंचन के परिवार वालों ने का कहना था कि वह कंकाल उनके किसी परिजन का है। लेकिन उनकी सुनी नहीं गई और पुलिस ने कंचन की हत्या का मामला भाई और पिता पर दर्ज कर लिया।
कोर्ट में कंचन की हत्या साबित करने के बाद कंचन के भाई और पिता को जेल हो गई । पिता और भाई को उसकी हत्या के जुर्म में सजा मिलने की सूचना जैसे तैसे काफी समय बाद कंचन तक पहुंची ।
जो अब आगर मालवा जिले में रहती है और उसकी शादी हो चुकी है उसके दो बच्चे हैं । यह जानकारी मिलते ही कंचन अपने घर लौटी और उसने पुलिस थाने पहुंचकर पुलिस को बताया कि उसकी हत्या के जुर्म में उसके भाई पिता को सजा मिली है लेकिन वह तो जिंदा है।
कंचन के सामने आने के बाद अब पुलिस की जांच पर – कार्यवाही पर सवाल उठ रहे हैं। इस मामले में मिली जानकारी के मुताबिक जिस कंकाल को कंचन को बताया गया उसकी डीएनए रिपोर्ट अभी आई नहीं है ।
मिली जानकारी के मुताबिक वर्ष 2014 में थाना अमरवाड़ा में 363 का प्रकरण दर्ज किया गया था
इस मामले में एएसपी संजीव उईके का कहना है कि यह मामला सामने आया है, डीएनए रिपोर्ट लंबित है, प्रकरण का ट्रायल कोर्ट में है, पिता की जमानत हो चुकी है, जबकि भाई अभी भी जेल में है। जब तक डीएनए रिपोर्ट नहीं आती तब तक कुछ कहा नहीं जा सकता है।
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