Pitr paksh अपने पूर्वजों के प्रति स्नेह, विनम्रता, आदर व श्रद्धा भाव से किया जाने वाला कर्म ही…
भाद्रपद पूर्णिमा से अमावस्या तक श्राद्ध कर्म होगे। 16 दिनों के लिए पितृ घर में विराजमान होते है जो कि हमारे वंश का कल्याण करते है। सर्वपितृ अमावस्या के साथ समाप्त होगे। पंचांग के अनुसार भाद्रपद पूर्णिमा से अमावस्या तक की विशेष अवधि में…
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